मधुमक्खी पालक का लाखों का नुकसान, प्रशासन से मदद की गुहार

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मधुमक्खी पालन से जुड़े एक गंभीर हादसे की। बिहार के जिला मुजफ्फरपुर, थाना मीनापुर के ग्राम बाबल बाजार के निवासी अरुण कुमार का कहना है कि उनकी जिंदगी की मेहनत एक झटके में राख हो गई।

क्या हुआ हादसा?
18 जनवरी 2025 को अरुण कुमार अपने ट्रक (संख्या UP 41 CT 1187) में 325 डिब्बे और 38 बाल्टियों में शहद लोड करके हमीरपुर से बाराबंकी की ओर जा रहे थे। लेकिन रास्ते में अचानक ट्रक के इंजन में आग लग गई। देखते ही देखते उनकी पूरी मेहनत जलकर खाक हो गई। अरुण बताते हैं कि इस हादसे में उन्हें करीब 14 लाख रुपये का नुकसान हुआ है।

पुलिस और अग्निशमन विभाग की लापरवाही
अरुण कुमार का आरोप है कि जब वह थाने में FIR दर्ज कराने गए, तो पुलिस ने उनकी बातों को अनसुना करते हुए अपनी मर्जी से बयान लिखकर मामला दर्ज किया।
इसके अलावा, अग्निशमन विभाग की लापरवाही ने उनके नुकसान को और बढ़ा दिया। सुबह 3 बजे जब उन्होंने विभाग को सूचना दी, तो टीम मौके पर सुबह 5 बजे पहुंची। अगर समय पर फायर ब्रिगेड पहुंचती, तो शायद उनकी मेहनत का कुछ हिस्सा बचाया जा सकता था।

ड्राइवर की लापरवाही बनी हादसे की वजह
हादसे की असली वजह ट्रक के इंजन में तकनीकी खराबी बताई जा रही है। अरुण ने ड्राइवर को जलने की महक के बारे में जानकारी दी थी, लेकिन ड्राइवर ने इसे नजरअंदाज कर गाड़ी चलाना जारी रखा। इसका नतीजा यह हुआ कि ट्रक में आग लग गई और लाखों का नुकसान हो गया।

अरुण कुमार की सरकार और प्रशासन से अपील
अरुण कुमार ने मीडिया के माध्यम से प्रशासन और सरकार से मदद की गुहार लगाई है। उनका कहना है कि वह अपनी मेहनत और पूंजी दोनों खो चुके हैं। ऐसे में सरकार उनकी मदद करे ताकि वह फिर से अपने पैरों पर खड़े हो सकें।

दोस्तों,
इस घटना से हमें कई बातें सीखने को मिलती हैं—तकनीकी खराबियों को नजरअंदाज करना कितना खतरनाक हो सकता है और प्रशासन की लापरवाही कितनी भारी पड़ सकती है। अब यह देखना होगा कि सरकार और प्रशासन इस पीड़ित की मदद के लिए क्या कदम उठाते हैं।

क्या है पूरा मामला

मधुमक्खी पालक का लाखों का नुकसान, प्रशासन से मदद की गुहार

मुजफ्फरपुर (बिहार) के मीनापुर थाना क्षेत्र के ग्राम बाबल बाजार निवासी मधुमक्खी पालक अरुण कुमार को भारी आर्थिक नुकसान का सामना करना पड़ा। अरुण कुमार ने बताया कि ट्रक (संख्या UP 41 CT 1187) में मधुमक्खी के 325 डिब्बे और 38 बाल्टियां शहद लोड करके हमीरपुर से बाराबंकी की ओर आ रहे थे, तभी ट्रक के इंजन में आग लगने से सारा सामान जलकर राख हो गया।

अरुण ने मीडिया को बताया कि इस हादसे में उन्हें करीब 14 लाख रुपये का नुकसान हुआ है। जब वह थाने में शिकायत दर्ज कराने गए तो पुलिस ने उनकी मर्जी के बजाय की बजाय अपने तरीके से बयान लिखकर FIR दर्ज की।

अग्निशमन विभाग की लापरवाही
अरुण ने आरोप लगाया कि सुबह 3 बजे अग्निशमन विभाग को सूचना दी गई थी, लेकिन उनकी टीम सुबह 5 बजे पहुंची। अगर समय पर अग्निशमन विभाग पहुंचता तो शायद कुछ सामान बचाया जा सकता था।

तकनीकी खराबी और ड्राइवर की लापरवाही बनी हादसे की वजह
अरुण ने बताया कि ट्रक के इंजन में तकनीकी खराबी की वजह से आग लगी। उन्होंने ड्राइवर को गाड़ी से जलने की महक आने की जानकारी दी थी, लेकिन ड्राइवर ने इसे नजरअंदाज कर गाड़ी चलाना जारी रखा, जिससे यह हादसा हुआ।

अरुण कुमार ने प्रशासन और सरकार से मदद की अपील की है ताकि उनके नुकसान की भरपाई हो सके। उन्होंने कहा कि इस हादसे ने उनकी आर्थिक स्थिति को गंभीर रूप से प्रभावित किया है। अगर आप इस खबर से सहमत हैं और अरुण कुमार के समर्थन में खड़े हैं, तो इस वीडियो को लाइक करें, शेयर करें, और हमारे चैनल को सब्सक्राइब करना न भूलें।

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