व्हाइट हाउस में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बीच बातचीत के दौरान अमेरिकी राष्ट्रपति ने मोदी की जमकर तारीफ की। उन्होंने कई मुद्दों पर भारत का पक्ष समझने की गंभीरता से कोशिश की। इस दौरान उनकी दोस्ती और नोकझोंक भी देखने को मिली। चाहे वह पीएम मोदी को कुर्सी पर बैठाना हो या उन्हें गले लगाना और यह कहना हो कि मुझे उनकी बहुत याद आती है। ट्रम्प ने मोदी को एक पुस्तक भी उपहार में दी। इस पुस्तक के पहले पृष्ठ पर लिखा था – मिस्टर प्राइम मिनिस्टर, यू आर ग्रेट।
ट्रम्प ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी उनसे कहीं अधिक सख्त वार्ताकार हैं। इसमें कोई प्रतिस्पर्धा नहीं है। जहां तक बातचीत और समझौतों की बात है तो ट्रम्प ने मोदी को अपने से कहीं अधिक कठोर और बेहतर बताया। पीएम मोदी के साथ संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान जब ट्रंप से पूछा गया कि उनमें से आज कौन बेहतर बातचीत कर सकता है, तो ट्रंप ने कहा, ‘पीएम नरेंद्र मोदी मुझसे कहीं ज्यादा सख्त वार्ताकार हैं और वह मुझसे कहीं ज्यादा अच्छे वार्ताकार हैं।’ इसमें कोई प्रतिस्पर्धा नहीं है।
प्रधानमंत्री मोदी ने स्पेसएक्स के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) एलन मस्क से मुलाकात की। इस दौरान अंतरिक्ष, प्रौद्योगिकी और ऊर्जा क्षेत्र में उपलब्ध अवसरों पर चर्चा की गई। बैठक में भारत और संयुक्त राज्य अमेरिका में सुशासन प्रयासों पर भी विचारों का आदान-प्रदान किया गया। दरअसल, पिछले महीने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने मस्क को अपने प्रशासन के नवगठित सरकारी दक्षता विभाग (DOGE) का प्रमुख चुना था। मस्क अपने तीन छोटे बच्चों सहित परिवार के साथ ब्लेयर हाउस दौरे पर पहुंचे।
प्रधानमंत्री मोदी और ट्रंप ने पाकिस्तान से आह्वान किया कि वह 26/11 के मुंबई हमलों के साजिशकर्ताओं को न्याय के कठघरे में लाने के लिए अपने प्रयास में तेजी लाए। ट्रंप ने इस नृशंस हमले के मुख्य साजिशकर्ता तहव्वुर राणा को भारत को प्रत्यर्पित करने को मंजूरी देने की घोषणा की है। उन्होंने कहा, ‘वह न्याय का सामना करने के लिए भारत वापस जा रहा है। हम उसे तुरंत भारत वापस भेज रहे हैं और इस तरह के और प्रत्यर्पण हो सकते हैं क्योंकि हमारे पास भारत से काफी अनुरोध हैं।
पीएम मोदी और ट्रम्प ने 16 वर्ष पहले दोनों देशों के बीच हुए ऐतिहासिक असैन्य परमाणु समझौते के तहत भारत में अमेरिका द्वारा डिजाइन किए गए परमाणु रिएक्टर के निर्माण को आगे बढ़ाने की प्रतिबद्धता जताई। ट्रम्प और मोदी ने अपनी वार्ता में ऊर्जा सहयोग को महत्वपूर्ण रूप से आगे बढ़ाने का निर्णय लिया।
पीएम मोदी के साथ अपनी वार्ता के बाद, अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रम्प ने रक्षा और ऊर्जा सहित दोनों देशों के बीच रणनीतिक संबंधों के विस्तार की दिशा में एक बड़ी छलांग की घोषणा की, और कहा कि वाशिंगटन भारत को अत्याधुनिक एफ-35 लड़ाकू जेट प्रदान करेगा। ट्रम्प ने कहा कि भारत व्यापार घाटे को कम करने के लिए अमेरिका से एफ-35 लड़ाकू विमानों सहित अधिक तेल, गैस और सैन्य उपकरण खरीदेगा, लेकिन उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि वाशिंगटन भारत को जवाबी शुल्कों से नहीं बचाएगा।
ट्रम्प ने उन्हें ‘अवर जर्नी टुगेदर’ पुस्तक भेंट की। इस किताब में पीएम मोदी और ट्रंप की दोस्ती की पुरानी यादें हैं। इसमें ट्रम्प की भारत यात्रा की महत्वपूर्ण यादें भी शामिल हैं। इस पुस्तक में अमेरिकी राष्ट्रपति की भारत यात्रा के दौरान आयोजित ‘नमस्ते ट्रम्प’ कार्यक्रम की अद्भुत तस्वीरें हैं। पुस्तक में ट्रम्प और मेलानिया की आगरा यात्रा और ताजमहल देखने की तस्वीरें भी हैं।
पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा, ‘मुझे खुशी है कि यहां प्रवेश करते ही मेरे मित्र ने मुझे पुराने अहमदाबाद क्रिकेट स्टेडियम की याद दिला दी, जहां हमने एक बड़ी रैली की थी और अहमदाबाद में ‘नमस्ते ट्रंप’ और ह्यूस्टन में ‘हाउडी मोदी’ दो ऐसे बड़े कार्यक्रम थे जिनकी गूँज आज भी भारत के कोने-कोने में सुनाई देती है।’
ट्रंप ने कहा, ‘‘भारतीय प्रधानमंत्री मोदी का हमारे साथ होना हमारे लिए बड़े सम्मान की बात है।’’ वह लंबे समय से मेरा अच्छा दोस्त है। हमारे बीच बहुत अच्छे संबंध रहे हैं और मैंने अपने 4 साल के कार्यकाल के दौरान इस संबंध को कायम रखा है। हमने अभी फिर से शुरुआत की है। आपसे मिलना सचमुच सम्मान की बात है, आप लंबे समय से मेरे मित्र हैं।
पीएम मोदी और राष्ट्रपति ट्रंप के बीच गुरुवार (स्थानीय समयानुसार) को एक महत्वपूर्ण बैठक हुई। अमेरिकी राष्ट्रपति ने व्हाइट हाउस में प्रधानमंत्री का स्वागत किया। राष्ट्रपति ट्रम्प ने कहा, “हमने आपको बहुत याद किया।” वाशिंगटन डीसी स्थित व्हाइट हाउस में मुलाकात के दौरान पीएम मोदी और अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप हाथ मिलाते नजर आए। उन दोनों ने एक दूसरे को कसकर गले लगा लिया। इस दौरान एक और यादगार घटना भी घटी। एक समय ऐसा भी आया जब पीएम मोदी व्हाइट हाउस में कुर्सी पर बैठने ही वाले थे कि ट्रंप ने सम्मानपूर्वक उनके लिए कुर्सी पीछे खींच ली। इसके अलावा ट्रंप तब तक पीएम मोदी के पीछे खड़े रहे जब तक पीएम मोदी ने एक किताब में अपने अनुभव साझा नहीं किए।
पीएम मोदी के ज्वाइंट प्रेस कांफ्रेंस में अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा कि दोनों पक्षों को उम्मीद है कि वे शीघ्र ही एक बड़े व्यापार समझौते पर पहुंच जाएंगे। उन्होंने कुछ अमेरिकी उत्पादों पर भारत द्वारा लगाए गए आयात शुल्क को बहुत अनुचित और कठोर बताया। ट्रंप ने कहा कि भारत जो भी शुल्क लगाएगा, हम भी वही शुल्क लगाएंगे।
पीएम मोदी ने कहा, ‘अमेरिका के लोग राष्ट्रपति ट्रंप के मकसद MAGA यानी ‘मेक अमेरिका ग्रेट अगेन’ है। भारत के लोग भी विरासत और विकास की पटरी पर विकसित भारत 2047 के दृढ़ संकल्प को लेकर तेज गति शक्ति से विकास की ओर अग्रसर हैं। अमेरिका की भाषा में कहूं तो विकसित भारत का मतलब ‘मेक इंडिया ग्रेट अगेन’ यानि ‘MIGA’ है। जब अमेरिका और भारत साथ मिलकर काम करते हैं, यानि MAGA प्लस ‘MIGA’, तब बन जाता है- ‘मेगा’ पार्ट्नर्शिप फॉर प्रोस्पेरिटी और यही मेगा हमारे लक्ष्यों को नया स्केल और स्कॉप देती है।
पूर्वी लद्दाख सीमा विवाद के बाद भारत और चीन के बीच संबंधों पर ट्रम्प ने झड़पों को निंदनीय बताया। उन्होंने कहा, ‘मैं सीमा पर झड़पें देख रहा हूं जो बहुत निंदनीय है…’ अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा कि वह चाहते हैं कि चीन, भारत, रूस और अमेरिका सभी एक साथ अच्छे से रहें। प्रधानमंत्री मोदी और राष्ट्रपति ट्रम्प ने रूस-यूक्रेन संघर्ष पर भी सवालों के जवाब दिए।