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भैरूंदा – अनस और सारिका राज्य स्तरीय अंग्रेजी ओलंपियाड में सम्मानित

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भैरूंदा – शासकीय स्कूलों की प्रतिभा ने लहराया परचम: अनस और सारिका राज्य स्तरीय अंग्रेजी ओलंपियाड में सम्मानित

 

 

भैरूंदा (अंश फीचर) सरकारी स्कूल अब सिर्फ शिक्षा ही नहीं, बल्कि प्रतिभा के निखार के केंद्र बनते जा रहे हैं। इसका जीवंत उदाहरण बने हैं भैरूंदा क्षेत्र के शासकीय विद्यालयों के दो होनहार विद्यार्थी — अनस और सारिका, जिन्होंने राज्य स्तरीय अंग्रेजी ओलंपियाड 2024-25 में जिले का प्रतिनिधित्व करते हुए भोपाल में सम्मान प्राप्त किया।

अनस: कम उम्र में बड़ी उड़ान

शासकीय प्राथमिक विद्यालय सद्दाम कॉलोनी भैरूंदा में कक्षा 2 में पढ़ने वाले अनस ने अपनी लगन और मेहनत से जिलेभर के विद्यार्थियों में स्थान बनाकर राज्य स्तर तक का सफर तय किया। मजदूरी करने वाले पिता रशीद शाह और गृहिणी मां साइना बी के बेटे अनस ने यह सिद्ध किया कि प्रतिभा को बढ़ावा देने के लिए महंगे स्कूल नहीं, समर्पित शिक्षक और प्रेरणादायक माहौल चाहिए।

सारिका: संकल्प और आत्मविश्वास की प्रतीक

इसी प्रतियोगिता में शासकीय प्राथमिक सेटेलाइट शाला नदीपार हाथीघांट की कक्षा 5 की छात्रा सारिका कुमारी कुशवाह ने भी शानदार प्रदर्शन किया। सीमित संसाधनों में पढ़ाई करने के बावजूद सारिका ने अंग्रेजी जैसी चुनौतीपूर्ण विषय में उत्कृष्ट प्रदर्शन कर दिखाया कि सरकारी स्कूलों की बेटियां भी किसी से कम नहीं हैं।

भोपाल में हुआ सम्मान, गूंजा शासकीय स्कूलों का नाम

भोपाल में आयोजित राज्य स्तरीय सम्मान समारोह में जब अनस और सारिका को मंच पर सम्मानित किया गया, तो वह क्षण शासकीय विद्यालयों के लिए गौरवपूर्ण था। इन बच्चों की सफलता ने यह साबित किया कि अब सरकारी स्कूलों में भी गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के साथ-साथ प्रतिस्पर्धी माहौल मिल रहा है।

शिक्षकों की मेहनत और संकल्प का परिणाम

इस सफलता के पीछे विद्यालयों के शिक्षकों की निष्ठा, मार्गदर्शन और बच्चों के उज्ज्वल भविष्य के प्रति समर्पण भी बड़ी भूमिका में रहा। ग्रामीण अंचल के इन स्कूलों में जहां पहले सिर्फ नामांकन की चिंता होती थी, आज वहां से राज्य स्तर की प्रतिभाएं निकल रही हैं।

शिक्षा विभाग और समाज की बधाई

शिक्षा विभाग के अधिकारियों, स्थानीय जनप्रतिनिधियों और समाजजनों ने अनस और सारिका को बधाई देते हुए कहा कि इन शासकीय विद्यालयों ने यह साबित किया है कि अगर उचित मार्गदर्शन और प्रेरणा मिले, तो किसी भी पृष्ठभूमि से आया छात्र राज्य और देश में नाम रोशन कर सकता है।

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